मुजफ्फरपुर में मिलन की राह में परिवार वालों द्वारा रुकावट पैदा किए जाने पर एक प्रेमी जोड़े ने अपनी जिंदगी खत्म कर ली

मुजफ्फरपुर, बिहार। छठी क्लास से चल रही मोहब्बत परवान नहीं चढ़ पाई तो माशूक और आशिक दोनों ने मोहब्बत के नाम अपनी कुर्बानी दे दी। माशूका ने जहां मुजफ्फरपुर मे अपने दुपट्टे का फंदा डाल लिया ,तो यहां से तकरीबन 2000 किलोमीटर दूर आशिक ने राजस्थान के जयपुर में अपने हॉस्टल की छत से कूदकर कुर्बानी दे दी। हम बात कर रहे हैं मुजफ्फरपुर शहर के नीम चौक शंकरपुरी के रहने वाले विवेक और पंखा टोली मोहल्ले की रहने वाली अंजलि की कहानी है। बुधवार की रात CA की तैयारी कर रही अंजलि ने अपने कमरे में अपने ही दुपट्टे से पंखा में फंदा लगाकर सुसाइड कर लिया। सूचना पर पहुंची काजी मोहम्मदपुर पुलिस ने दरवाजा तोड़ा तो पंखे से अंजलि का शव लटक रहा था। अंजलि के कान में ब्लूटूथ भी लगा हुआ था और उसके मोबाइल पर लगातार विवेक का कॉल आ रहा था। 23 वर्षीय अंजलि की मौत के बाद उसके पिता अवधेश चौधरी समेत परिवार के अन्य लोगों के बीच चीख-पुकार मच गई। पुलिस ने शव को अपने कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए एसकेएमसीएच भेज दिया। अंजली के परिवार वाले अबी कुछ भी बोलने से इंकार कर रहे हैं।

10 सालों तक एक साथ रिलेशनशिप में रहने के बाद गर्लफ्रेंड की मौत की खबर मिलते ही विवेक अपना आपा खो बैठा, और उसने अपनी पांच मंजिली इमारत पर कूदकर जान दे दीष क्योंकि विवेक को यकीन नहीं हो रहा था कि उसका सालों का प्यार अब उसके पास नहीं रहा। विवेक के पिता सागर शाह एक छोटे से मछली कारोबारी हैं। वह नीम चौक पर अपनी मछली का दुकान चलाकर बेटा को राजस्थान के जयपुर में इंजीनियरिंग का पढ़ाई पढ़ा रहे थे। जवान बेटे की मौत की खबर मिलने के बाद विवेक के परिवार में भी कोहराम मचा हुआ है। विवेक के भाई राहुल और चाचा संजय मानते हैं कि इन दोनों के मौत का जिम्मेदार और कोई नहीं है अंजली का परिवार है।

विवेक और अंजली ने प्यार की राह में खुद को कुर्बान कर लिया। मगर मोहब्बत जिंदगी का दूसरा नाम है न कि मौत का। इश्क की राह में आई दुश्वारियों फतह कर एक दूसरे के लिए जिंदा रहना ही सच्चा प्यार है।

रिपोर्ट- संदीप श्रीवास्तव

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *